Sunday, July 24, 2016

पित्त की थैली की पथरी को दूर करने के घरेलू उपचार

नाशपाती का जूस (Pear juice)- नाशपाती के आकार की पित्त की थैली को नाशपाती द्वारा ही साफ किया जाना संभव है। नाशपाती में मौजूद पैक्टिन (pectene) कोलेस्ट्रॉल (cholesterol) को बनने और जमने से रोकता है। यूं भी नाशपाती गुणों की खान है जिसके कई स्वास्थ्य लाभ हैं।
उपचार- एक गिलास गरम पानी में, एक गिलास नाशपाती का जूस और दो चम्मच शहद (honey) मिलाकर पीएं। इस जूस को एक दिन में तीन बार पीना चाहिए।
पुदीना (Mint)- पुदीना को पाचन के लिए सबसे अच्छी घरेलू औषधि (home remedy) माना जाता है जो पित्त वाहिका तथा पाचन से संबंधित अन्य रसों को बढ़ाता है। पुदीना में तारपीन (terpenes) भी होता है जो कि पथरी को गलाने में सहायक माना जाता है। पुदीने की पत्तियों से बनी चाय गॉल ब्लेडर स्टोन से राहत दे सकती है।
उपचार- पानी को गरम करें, इसमें ताजी या सूखी पुदीने के पत्तियों को उबालें। हल्का गुनगुना रहने पर पानी को छानकर इसमें शहद मिलाएं और पी लें। इस चाय को दिन में दो बार पीया जा सकता है।
सेब का जूस और सेब का सिरका (Apple and Apple cider vinegar)- सेब में पित्त की पथरी को गलाने का गुण होता है, लेकिन इसे जूस के रूप में सेब के सिरके के साथ लेने पर यह ज्यादा असरकारी होता है। सेब में मौजूद मैलिक एसिड (mallic acid) पथरी को गलाने में मदद करता है तथा सेब का सिरका लिवर में कोलेस्ट्रॉल नहीं बनने देता, जो पथरी बनने के लिए जिम्मेदार होता है। यह घोल न केवल पथरी को गलाता है बल्कि दोबारा बनने से भी रोकता है और दर्द से भी राहत देता है।
उपचार के लिए- एक गिलास सेब के जूस में, एक चम्मच सेब का सिरका मिलाएं। इस जूस को रोजाना दिन भर में दो बार पीएं।
रोजाना 8 से 10 गिलास पानी जरूर पीएं। चाहे प्यास न भी लगी हो।
वसायुक्त या तेज मसाले वाले खाने से बचें।
प्रतिदिन कॉफी जरूर पीएं। बहुत ज्यादा भी नहीं लेकिन दिन में एक से दो कप काफी हैं। कॉफी भी पित्त वाहिका को बढ़ाती है जिससे पित्त की थैली में पथरी नहीं होती।
अपने खाने में विटामिन सी की मात्रा बढाएं। दिनभर में जितना ज्यादा संभव हो विटामिन सी से भरपूर चीजें खाएं।
हल्दी, सौंठ, काली मिर्च और हींग को खाने में जरूर शामिल करें।
 नाशपाती का जूस (Pear juice)- नाशपाती के आकार की पित्त की थैली को नाशपाती द्वारा ही साफ किया जाना संभव है। नाशपाती में मौजूद पैक्टिन (pectene) कोलेस्ट्रॉल (cholesterol) को बनने और जमने से रोकता है। यूं भी नाशपाती गुणों की खान है जिसके कई स्वास्थ्य लाभ हैं।
उपचार- एक गिलास गरम पानी में, एक गिलास नाशपाती का जूस और दो चम्मच शहद (honey) मिलाकर पीएं। इस जूस को एक दिन में तीन बार पीना चाहिए।



जोड़ो / घुटनों का दर्द / गठिया

1 . मेथी, सोंठ और हल्दी सामान मात्र में मिलकर, पीसकर नित्य सुबह शाम खाना खाने के बाद गरम पानी से दो – दो चम्मच फ़की लेने से लाभ होता हे.
2 . रोज सुबह  भूखे पेट एक चम्मच कुटी हुई दाना मेथी में, १ ग्राम कलोंजी मिलकर एक बार फाकी ले.
3 . दाना मेथी हमेशा सुबह खली पेट, दोपहर और रत को खाना खाने के बाद आधा चम्मच पानी के साथ फाकने से सभी जोड़ मजबूत रहेंगे और जोड़ो का दर्द कभी नहीं होगा.
4 . हल्दी, गुड, पीसी दान मेथी और पानी सामान मात्र में मिलकर, गरम करके इनका लेप रत को घुटनों पर करे. इस पर पट्टी बांध कर रत भर बंधे रहने दे. सुबह पट्टी हटा कर साफ कर ले. कुछ ही  में असर महसूस हो जयेग.
5.  अलसी के बीजो के साथ 2 अखरोट लेने से जोड़ो के दर्द से आराम मिलता हे.
6. मेथी के लड्डू खाने से हाथ पेरो के और जोड़ो के दर्दो में आराम मिलता हे.
7. 30 के उम्र के बाद दाना मेथी की फाकी लेने से शरीर के जोड़ मजबूत बने रहते हे. बुढ़ापे तक मधुमेह, ब्लड प्रेशर और गठिया जेसे रोगों से बचाव होता हे.
8. मेथी दाने को तवे या कढ़ाही में गुलाबी होने तक सेके. ठंडा होने पर पीस ले. रोज सुबह आधा चम्मच , एक गिलास पानी के साथ ले.
9. मेथी को दर्दारी कूट कर इसकी सर्दियों में २ चम्मच और गर्मी में एक चम्मच फाकी सुबह पानी के साथ ले.
10 . अंकुरित मेथी खाए और उसके खाने के बाद आधे घंटे तक कुछ न खये.